
नकली नोट निर्माण का बड़ा रैकेट पकड़ाया, 05 आरोपियों से 15.41 लाख की नकली करंसी जप्त। एसपी पुनीत गेहलोद ने प्रेस कॉन्फ्रेंस कर किया खुलासा।

देवास पुलिस ने एक महत्वपूर्ण सफलता प्राप्त की है। नकली नोटों के निर्माण एवं अवैध संचालन में लिप्त एक गिरोह का पर्दाफाश किया है। जिनसे लगभग 16 लाख के नकली नोट पकड़े है। पुलिस ने 05 आरोपी गिरफ्तार किये है।
दरअसल 01 जून 2025 थाना प्रभारी बैंक नोट प्रेस के टीआई अमित सोलंकी को सूचना मिली कि दो व्यक्ति नकली नोट लेकर क्षेत्र से जा रहे है है, पुलिस ने 02 विशेष टीमों का गठन किया गया। टीमों ने आरोपी सचिन नागर एवं शुभम वर्मा को गिरफ्तार कर उनके कब्जे से 1,96,200/- के नकली नोट एवं एक काली रंग की स्प्लेंडर मोटरसाइकिल जब्त की। व आरोपियो के विरूद्ध थाना बैंक नोट प्रेस में अपराध क्रमांक 556/2025 धारा 178,179,180, 61(2) BNS का अपराध पंजीबद्ध कर विवेचना में लिया गया। आरोपियो से पूछताछ में ज्ञात हुआ कि आरोपी राजकुमार मालवीय ग्राम सोनकच्छ, द्वारा अपने निवास पर नकली नोटों का निर्माण किया जा रहा हैं। तत्काल कार्यवाही करते हुए पुलिस टीमों के द्वारा आरोपी राजकुमार के घर पर दबिश दी गई, जहाँ से आरोपी राजकुमार मालवीय एवं सुनील पाटिल को गिरफ्तार कर उनके कब्जे से 13,25,000/- के 500-500 की नकली नोटों की गड्डियाँ तथा नोट निर्माण में प्रयुक्त उपकरण एवं अन्य सामग्री बरामद की गई। बाद अनुसंधान में आरोपी शक्ति सिंह चावड़ा को भी गिरफ्तार किया गया। पुलिस ने कुल 15,41,200/- के नकली नोट, लैपटॉप, प्रिंटर, स्केनिंग पेटी, 100-200-500 के अर्द्ध छपे प्रिंट पेपर एवं 02 मोटर साइकिल जप्त किये है। गिरफ्तार आरोपियों में सुनील पाटिल निवासी बुरहानपुर, राजकुमार मालवीय निवासी सोनकच्छ, सचिन निवासी सोनकच्छ, शुभग वर्मा निवासी देवास, शक्ति सिंह निवासी देवास पकड़ाये है।
एसपी पुनीत गेहलोद ने बताया कि, मुख्य सुनील पाटिल है। सुनील की मुलाकात अन्य साथियों से भेरूगढ़ जेल में हुई थी। जो कि 2006 से नकली नोट का निर्माण करते आ रहा है। आरोपियों से लगभग 16 लाख रुपये की राशि की जप्त की है। अंदाजन अभी तक ये आरोपी 25 लाख रुपये खपा चुके है। बाकी ओर जानकारी इनसे ली जा रही है।
